पटना। आज 12 जनवरी को स्वामी विवेकानंद की जयंती है। देश-विदेश में उनकी जयंती को युवा दिवस के रूप में मनाया जा रहा है। इसकी वजह है, विवेकानंद का आदर्श जीवन, जो हर युवा के लिए प्रेरणास्रोत है। स्वामी विवेकानंद ने युवाओं के लिए कुछ ऐसे संदेश दिए जो सफलता के मूलमंत्र बन गए और लाखों युवाओं का जीवन सफल करने में कामयाब रहे। इन संदेशों ने युवाओं को आगे बढ़ने के लिए प्रेरित किया। स्वामी विवेकानंद भारत के आध्यात्मिक गुरु थे। उनका जन्म 12 जनवरी 1863 को कोलकाता में हुआ। हुगली नदी के किनारे वेलूर मठ में आज भी उनके अनुयायी उनके होने का अहसास करते हैं। महज 25 वर्ष की आयु में विवेकानंद ने सांसारिक मोह माया को त्याग दिया और गुरु रामकृष्ण परमहंस के संपर्क में आए। बाद में उन्होंने गुरु के नाम पर रामकृष्ण मिशन की स्थापना की। अमेरिका के शिकागो में आयोजित विश्व धर्म संसद में ऐतिहासिक भाषण दिया। हालांकि 39 वर्ष की अल्पायु में 4 जुलाई 1992 को स्वामी विवेकानंद इस दुनिया को छोड़कर चले गए। उनके ओजस्वी भाषण, अनमोल वचन और संदेश आज भी युवाओं को आगे बढ़ने के लिए प्रेरित कर रहे हैं। स्वामी विवेकानंद की जयंती पर उनके कुछ अनमोल वचनों के बारे में हम आपको बता रहे हैं ताकि आप भी निराशा से उबरकर सफलता के कीर्तिमान स्थापित करें।
विवेकानंद का जीवनदर्शन
ब्रह्मांड की सारी शक्तियां पहले से हमारी हैं। वो हम ही हैं जो अपनी आंखों पर हाथ रख लेते हैं और फिर रोते हैं कि कितना अंधकार है।
एक समय में एक काम करो और ऐसा करते समय अपनी पूरी आत्मा उसमें डाल दो और बाकी सब कुछ भूल जाओ।
उठो, जागो और तब तक नहीं रुको, जब तक लक्ष्य ना प्राप्त हो जाए।
सबसे बड़ा धर्म है अपने स्वभाव के प्रति सच्चा होना। स्वयं पर विश्वास करो।
बस वही जीते हैं, जो दूसरों के लिए जीते हैं।
जैसा तुम सोचोगे वैसा ही बन जाओगे। खुद को निर्बल मानोगे तो निर्बल और सबल मानोगे तो सबल बन जाओगे।
पढ़ने के लिए जरूरी है एकाग्रता, एकाग्रता के लिए जरूरी है ध्यान, ध्यान से ही हम इंद्रियों पर संयम रखकर एकाग्रता प्राप्त कर सकते हैं।
