ताड़का मारीच और सुबाहु का वध जीवंत हुआ रामलीला में 

17 अक्टूबर  2023

 श्री दशहरा कमिटी ट्रस्ट द्वारा नागा बाबा  ठाकुरबाड़ी में

आयोजित रामलीला महोत्सव  के  तीसरे  दिन मंचनकर्ता 

 श्री धाम वृंदावन  के यशस्वी व्यास स्वामी गिरिराज विशिष्ठ का स्वागत अभिनंदन तथा भगवान की आरती

मुख्य अतिथि पटना के महापौर सीता साहू कमिटी के अध्यक्ष  अरुण कुमार, महासचिव  आर  सी  मल्होत्रा,  कोषाध्यक्ष धनंजय  कुमार, संजय गुप्ता,रामलीला के संयोजक प्रिंस कुमार  राजू, सह  संयोजक आशु  गुप्ता, रावण दहन के संयोजक मुकेश  नंदन, सह संयोजक राकेश  कुमार, संस्थापक  सचिव  डा0 टी. आर.  गाँधी, चेयरमैन  कमल  नोपानी, समाज सेवी  सुषमा साहू, सुजय सौरभ एवं राजेश बजाज , अजीत कुमार बबलु, प्रेम साहु, संजय बरनवाल, अनूप भारतीय, उमानाथ, नरेंद्र शर्मा अमित शिवम ने  किया l

तीसरे दिन की  रामलीला में वृंदावन के कलाकारों  ने गिरिराज विशिष्ठ जी के निर्देशन में  असुरों द्वारा महर्षि विश्वामित्र का  यज्ञ ध्वंस की घटना से लेकर श्रीं राम द्वारा असुरों का संहार  कर के विश्वामित्र के व्याघ्रसर (बक्सर) वन को यज्ञ के योग्य बनाने तक की लीला को मंच पर साकार  किया l

लीला  में  दिखाया गया कि महर्षि  विश्वामित्र यज्ञ  करते  है  तो असुर  मारीच  और  सुबाहु आकर यज्ञ को  ध्वंस कर देता है l यज्ञ पुरा नहीं  करने  की चिंता  को  लेकर यज्ञ की रक्षा के लिए महर्षि  विश्वामित्र अयोध्या जाकर राजा दशरथ  से राम लक्ष्मण को मांगते हैं l राजा  दशरथ राम  लक्ष्मण  को  देने  से  मना करते हैं l कुल गुरु विशिष्ठ के समझाने पर राजा  दशरथ  महर्षि विश्वामित्र को राम लक्ष्मण सौंपते हैं l

विश्वामित्र के  यज्ञ की  रक्षा  के  लिये जब श्री राम लक्ष्मण  आते  हैं  तो मार्ग में ही उनका सामना ताड़का राक्षसी मार्ग में ही मिलती है l

प्रभु  श्री  राम   एक  ही  बाण में ताड़का का वध कर  देते है l इसके बाद यज्ञ को ध्वंस करने  वाले  राक्षस मारीच और सुबाहु का वध करके विश्वामित्र  के  बक्सर वन  को  असुरों  से  मुक्त  कर वन  प्रदेश  को  पावन करके यज्ञ के योग्य बनाते हैं l

लीला मंडली के कलाकारों ने अपने भावों संवादों एवं अभिनय से त्रेता युग के उन प्रसंगों  को  वर्तमान  मे  साकार  किया l 
एम पी जैन ने बताया कि कल चौथे  दिन अहिल्या उद्धार और पुष्प वाटिका दर्शन की लीला  का  आकर्षण  होगा श्रीरामलीला में l
एम पी जैन

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Author: undekhilive

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